आसमान मेँ तारे आए – बहुत दिनोँ के बाद
रजनी ने आंचल फहराया – बहुत दिनोँ के बाद
बादल छँटे सप्तर्षि मुसकाए – बहुत दिनोँ के बाद
हिरना के पीछे दौड़े धनुष उठाए भरत – बहुत दिनोँ के बाद
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और अपने परिचितोँ को भी बताएँ.
©अरविंद कुमार
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